चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी की टॉपर रहीं हरियाणा की बेटी EPFO ​​में बनीं असिस्टेंट कमिश्नर, UPSC परीक्षा में पाई दूसरी रैंक

 
चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी की टॉपर रहीं हरियाणा की बेटी EPFO ​​में बनीं असिस्टेंट कमिश्नर, UPSC परीक्षा में पाई दूसरी रैंक
संघ लोक सेवा आयोग द्वारा कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) के लिए आयोजित सहायक आयुक्त पदों के परिणाम घोषित होने के बाद हरियाणा प्रदेश के युवाओं ने प्रथम व द्वितीय रैंक प्राप्त की है। जोकि हरियाणा प्रदेश के लिए गौरव की बात है। यूपीएससी द्वारा आयोजित इन परिणामों में कुल 159 पदों के लिए चयनित ईपीएफओ के सहायक आयुक्त का दूसरा रैंक भिवानी की अर्पणा गिल ने प्राप्त किया है, जोकि प्रदेश के लिए गौरव की बात है।

बधाई देने वालों का लगा तांता
भिवानी के विद्या नगर निवासी अर्पणा गिल के परिवार को बधाई देने वालों का तांता लग गया। अर्पणा गिल मूल रूप से बाढड़ा हलके के लाडावास गांव की निवासी हैं। उनके दादा हुकम चंद गांव के पूर्व सरपंच रह चुके हैं। उनकी माता का नाम सुनीता देवी व पिता का नाम महाबीर सिंह है। वह दो भाई-बहनों में सबसे छोटी हैं। अर्पणा गिल ने बताया कि उनकी सफलता के पीछे उनके माता-पिता और परिवार के सदस्यों का बड़ा सहयोग रहा, जिसकी बदौलत वह सेल्फ स्टडी के रास्ते पर चलकर इस परीक्षा में सफल हो पाईं। उन्होंने बताया कि यूपीएससी आईएएस का इंटरव्यू देने के अलावा वह दो बार एचसीएस मेन भी पास कर चुकी हैं। इसके अलावा वह असिस्टेंट कमांडेंट की परीक्षा भी पास कर चुकी हैं। लेकिन फिजिकल के कारण उन्हें यह पद नहीं मिल पाया।

आईएएस की तैयारी जारी रखेंगी

उन्होंने बताया कि वह वर्ष 2017 से लगातार सिविल सेवा की तैयारी कर रही हैं। उन्होंने बताया कि यूपीएससी द्वारा आयोजित ईपीएफओ के असिस्टेंट प्रोविडेंट फंड कमिश्नर के पद पर दूसरा स्थान प्राप्त करने के बाद भी वह यूपीएससी के लिए आईएएस परीक्षा की तैयारी जारी रखेंगी, जो उनका और उनके परिवार का सपना भी है। उन्होंने बताया कि कड़ी मेहनत और सेल्फ स्टडी के जरिए कोई भी छात्र लगातार 8 से 10 घंटे पढ़ाई करके इन परीक्षाओं को पास कर सकता है। इसके लिए लगातार सेल्फ स्टडी की जरूरत होती है।

चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी की टॉपर भी रही हैं अर्पणा
गौरतलब है कि अर्पणा गिल चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी की टॉपर भी रही हैं और वर्ष 2022 में अपने पिता महाबीर गिल के असामयिक निधन के बाद भी वह अपने लक्ष्य से विचलित नहीं हुईं और अपनी पढ़ाई जारी रखी। यूपीएससी द्वारा आयोजित एपीएफओ परीक्षा में वह अखिल भारतीय स्तर पर दूसरा रैंक प्राप्त करने में सफल रहीं। अब वह भारत सरकार के श्रम एवं रोजगार मंत्रालय के अधीन कार्यरत कर्मचारी भविष्य निधि संगठन में सहायक आयुक्त के पद पर कार्य कर सकेंगी। इस अवसर पर उनके मामा बलवान, माता सुनीता देवी और भाई अनुज ने बताया कि अर्पणा स्कूल के दिनों से ही होनहार रही हैं और अपनी कक्षा में प्रथम आती रहीं। इसके बाद उन्होंने निरंतर कॉलेज की पढ़ाई के साथ-साथ प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी शुरू कर दी। जिसके चलते वह सहायक आयुक्त के पद तक पहुंच पाईं। उन्होंने बताया कि उनका अगला लक्ष्य यूपीएससी परीक्षा के माध्यम से आईएएस परीक्षा पास करना है। उन्हें उम्मीद है कि अर्पणा गिल इस लक्ष्य को अवश्य प्राप्त करेंगी।

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